IDBI Bank Privatization Latest News: बैंक ग्राहकों पर पड़ा दुखो का पहाड़, अगले 26 दिनों में यह सरकारी बैंक हो जायेगा प्राइवेट सेक्टर के हवाले, जानिए पूरी डिटेल। बैंक प्राइवेटाइजेशन को लेकर एक और बड़ा अपडेट सामने आ रहा है. सरकार लगातार देश में बैंकिंग व्यवस्था में बदलाव करने के लिए प्राइवेटाइजेशन की तरफ बढ़ रही है। आइये जानते है इसके बारे में पूरी डिटेल।
केंद्र सरकार ने IDBI Bank को प्राइवेट करने का प्लान बनाया (Central government plans to privatize IDBI Bank)

सरकार लंबे समय से एक और बैंक के निजीकरण पर काम कर रही है। वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण (FM Nirmala Sitharaman) ने इस बारे में बजट में ऐलान किया था. फिलहाल 16 दिसंबर तक इस प्रोसेस को पूरा कर लिया जाएगा। केंद्र सरकार ने IDBI Bank को प्राइवेट करने का प्लान बनाया है और सेबी से इसके लिए कुछ रियायतें मांगी है।
IDBI बैंक के 25 फीसदी पब्लिक शेयर होल्डिंग को प्राइवेटाइजेशन के बाद भी जारी रखा जाए (25% public shareholding of IDBI Bank should be continued even after privatization)

मीडिया रिपोर्ट से मिली जानकारी के मुताबिक, सरकार ने सेबी से मांग की है कि आईडीबीआई बैंक की मिनिमम 25 फीसदी पब्लिक शेयर होल्डिंग के नियम से मिली छूट को इसके प्राइवेटाइजेशन के बाद भी जारी रखा जाए।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक 16 दिसंबर को प्राइवेट सेक्टर के हवाले हो जायेगा बैंक (According to media reports, the bank will be handed over to the private sector on December 16.)

ऐसा माना जा रहा है कि सरकार IDBI Bank की बिड को 16 दिसंबर की समय सीमा तक पूरा करने का प्लान बना रही है। अगर सरकार और एलआईसी को इजाजत दे देती है कि वह इसे पब्लिक शेयर होल्डर मान ले तो मिनिमम पब्लिक शेयरहोल्डिंग के नियमों का पालन हो जाएगा। जानकारी के मुताबिक, स्टॉक मार्केट में जितनी भी कंपनियां लिस्ट हैं सभी के लिए लिस्टिंग के 3 साल के अंदर ही मिनिमम 25 फीसदी शेयरहोल्डिंग जरूरी है। फिलहाल सेबी के इस नियम से सरकारी कंपनियों को छूट मिली हुई है।
IDBI Bank में सरकार की हिस्सेदारी है सबसे ज्यादा (The government has the largest stake in IDBI Bank)

आपको बता दें IDBI Bank में सरकार की हिस्सेदारी सबसे ज्यादा है इसी वजह से इस कंपनी को भी 25 फीसदी वाली मिनिमम शेयरहोल्डिंग से छूट मिलती है। IDBI Bank में सरकार और एलआईसी दोनों की मिलाकर 95 फीसदी हिस्सेदारी है।
केंद्र सरकार ने इस बैंक में अभी तक 27000 करोड़ रुपये का निवेश किया है (The central government has so far invested Rs 27,000 crore in this bank.)
केंद्र सरकार की तरफ से इस बैंक में 1 अप्रैल 2010 से लेकर के 31 मार्च 2021 के बीच में करीब 27000 करोड़ रुपये का निवेश किया जा चुका है। वहीं, RBI इसको 21 जनवरी 2021 से प्राइवेट सेक्टर का बैंक मानता है।